कांग्रेस के धाकड़ प्रवक्ता के तौर पर चर्चित राजीव त्यागी का निधन हो गया. निधन के कुछ देर पूर्व तक वह एक टीवी चैनल पर डिबेट में हिस्सा ले रहे थें. उनके आखिरी ट्वीट भी यही थें कि मैं शाम 5 बजे उक्त चैनल पर डिबेट में शामिल रहूंगा.
राजीव त्यागी की मृत्यु पर ट्वीट करते हुए कांग्रेस के ही एक दूसरे तेजतर्रार प्रवक्ता प्रो गौरव बल्लभ ने लिखा है कि राजीव त्यागी जी पर जो दबाव डिबेट के दौरान रहा होगा, वह मैं समझ सकता हूं. यह संयम एवं आचरण की परीक्षा देने जैसा है.
प्रो गौरव ने आगे लिखा है कि सुनियोजित व्यवस्था के तहज आवाज बंद कर देना, व्यक्गित व पार्टी नेताओं के खिलाफ अपशब्दों का इस्तेमाल करना, कांग्रेस प्रवक्ता के खिलाफ 3 4 घोषित अघोषित प्रवक्ता बैठा देना जैसे कुछ हथकंडे हैं लेकिन यह खेल कब तक चलेगा.
राजीव त्यागीजी पर जो दबाव डिबेट के दौरान रहा होगा वह मैं समझ सकता हूँ।यह संयम व आचरण की परीक्षा देने जैसा है
सुनियोजित व्यवस्था के तहत आवाज़ बंद करना,व्यक्तिगत व पार्टी नेताओं के लिए अपशब्द,1 कांग्रेस प्रवक्ता के ख़िलाफ़3-4 घोषित-अघोषित प्रवक्ता जैसे कुछ हथकंडे हैं
यह खेल कब तक?— Prof. Gourav Vallabh (@GouravVallabh) August 12, 2020
यह सच है कि न्यूज चैनल वाले किसी खास व्यक्ति के इशारे पर कांग्रेस प्रवक्ता की आवाज को दबाने के लिए भाजपा के कई अघोषित प्रवक्ता बैठा दिए जाते हैं. अब राजीव त्यागी के साथ आखिरी डिबेट ही देख लिजिए. प्रतिदिन संघ विचारक बन कर आने वाला संगीत रागी उस दिन राजनीतिक विश्लेषक बन जाता है.
स्थिति इतनी खराब हो गई है कि सामरिक विशेषज्ञ के नाम पर भी भाजपा के अघोषित प्रवक्ताओं को बैठा दिया जाता है. चीखना, चिल्लाना, कूदना, उत्पात मचाना… ये इन न्यूज चैनल वालों की संस्कृति बन गई है. हद तो तब हो गई जब जन्माष्टमी के दिन पूजा पाठ कर तिलक लगाकर डिबेट में पहुंचे राजीव त्यागी को भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा की ओर से नकली हिंदू और जयचंद कहा गया.